Friday 12 February 2016

पक्षियों की आवाजों के बिना सुबह-साँझ ठीक नही लगती 
और ये महसूस होता है कि अदृश्य हाथों ने 
उनका शिकार किया है पखेरुओं को पकड़कर 
कुछ कंपनियां बहार भेज रही है 
इनमें olx भी है आप पक्षियों की तस्करी को रोकिये जन्हा भी हो, उनकी शिकायत करे 
हम शिकायत नही करते, तो अपराध बेलगाम होते रहते है यंहा 
बालाघाट में कुछ बिना नंबर की गाड़ियों में लकड़ी ले जाई जाती थी 
मैंने इसकी शिकायत प्रधानमंत्री कार्यालय को की थी , तब वंहा से पत्र आये , और वन उपमंडल अधिकारी को मेरा बयान लेना हुआ , बीएस मैंने फिर pmoको लिखा, की वे साबुत मांगते है, तब यंहा के सप sp ने जाँच की  ,बहुत बड़ा रेकेट पकड़ाया, जो वनकर्मियों संग मिलकर जंगल की अवैध कतई में वर्षो से लगा था , बड़े अधिकारी भी लपेटे में आ गए , अब तो जाँच है, वे पकड़े गए 
मुझे लगता है, पेंच प्रोजेक्ट में भी बाघों को ऐसे ही गिरोह द्वारा मारा जा रहा है, उनकी भी शिकायत भी की है ये फिरसे वनकर्मियों की मिलीभगत लगती है एक 
iasने ऐसी साजिशों पर भी किताब लिखी है , जो मिल का पत्थर साबित होगी 

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